बिजावर/संववाददाता
बिजावर के साथ – साथ सारे छतरपुर जिले में 1, 2, के सिक्के बाजार के दुकानदार नही ले रहे हैं और प्रशासन इस ओर कोई ध्यान नही दे रहा है, दुकानदार चाहे छोटे हों या बड़े सभी सिक्के लेने से परहेज कर रहे हैं जिसके गरीब तबके के लोगों को काफी परेशानियां उठानी पड़ रहीं है।
सिक्का ना लेने पर सजा और जुर्माना
सिक्का अधिनियम, 2011 की धारा 6 के तहत रिजर्व बैंक द्वारा जारी सिक्के भुगतान के लिए वैध मुद्रा हैं बशर्ते कि सिक्के को जाली नहीं बनाया गया हो.भारतीय दण्ड संहिता की धारा 489ए से 489इ के तहत नोट या सिक्के का जाली मुद्रण, जाली नोट या सिक्के चलाना और सही सिक्कों को लेने से मना करना अपराध है. इन धाराओं के तहत किसी विधिक न्यायालय द्वारा आर्थिक जुर्माना, कारावास या दोनों का प्रावधान है.अगर कोई व्यक्ति वैध सिक्के को लेने से मना करता है तो आप तुरंत उसका वीडियो बनायें और पास के थाने में शिकायत दर्ज कराएँ. पुलिस को उस व्यक्ति के खिलाफ कार्यवाही करनी ही पड़ेगी.
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कौन से सिक्के बंद हो गये हैं;
भारत सरकार के वित्त मंत्रालय ने 30 जून 2011 से बहुत ही कम वैल्यू के सिक्के जैसे 1 पैसे, 2 पैसे, 3 पैसे, 5 पैसे, 10 पैसे, 20 पैसे और 25 पैसे मूल्यवर्ग के सिक्के संचलन से वापस लिए गए हैं. इसलिए ये वैध मुद्रा नहीं हैं और कोई भी दुकानदार और बैंक वाला इन्हें लेने से मना कर सकता है.ध्यान रहे कि 50 पैसा अभी भारत में वैध सिक्का है और दुकानदार और पब्लिक उसको लेने से मना नहीं कर सकते हैं.
तो आप समझ गये होंगे कि वैध सिक्कों को ना लेना एक अपराध है क्योंकि सिक्का भारत सरकार के द्वारा जारी किया गया आदेश होता है. यदि कोई व्यक्ति या संस्था सिक्कों को लेने से मना करती है तो इसका सीधा मतलब है कि वह सरकार के आदेश को मानने से इंकार कर रहा है. इसलिए उसके खिलाफ कानूनी कार्यवाही की जाएगी.
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