संतोष साहू,
मुंबई। भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 7 जुलाई, 2022 को राज्यपाल आनंदीबेन पटेल और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की उपस्थिति में उत्तर प्रदेश के वाराणसी में अक्षय पात्र फाउंडेशन की नई रसोई का उद्घाटन किया। वेस्टब्रिज कैपिटल द्वारा समर्थित यह अत्याधुनिक केंद्रीकृत रसोई 3 एकड़ के क्षेत्र में फैली हुई है। यह देश में अक्षय पात्र की 62वीं और उत्तर प्रदेश राज्य में पांचवीं रसोई है। यह फाउंडेशन को प्रधानमंत्री पोषण शक्ति निर्माण (पीएम पोषण) पूर्व में मध्याह्न भोजन (एमडीएम) योजना के माध्यम से 100,000 से अधिक बच्चों के जीवन को सकारात्मक रूप से प्रभावित करने में सक्षम बनाएगा।
उद्घाटन समारोह के मुख्य अतिथि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी थे, जबकि बतौर विशिष्ट अतिथि राज्यपाल आनंदीबेन पटेल और यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मौजूद थे। कार्यक्रम की अध्यक्षता अक्षय पात्र के अध्यक्ष, मधु पंडित दास और उपाध्यक्ष चंचलपति दास ने की। उद्घाटन कार्यक्रम के बाद रसोई का भ्रमण कराया गया और बच्चों को प्रतीकात्मक भोजन परोसा गया। उपस्थित गणमान्य व्यक्तियों ने फीडिंग प्रोग्राम के माध्यम से देश में भूख और कुपोषण को दूर करने के अक्षय पात्र के प्रयासों की खुलकर सराहना की और संगठन के प्रयासों को अपना समर्थन देने का वचन दिया।
प्रधानमंत्री मोदी ने अक्षय पात्र रसोई लॉन्च के बाद कहा कि मुझे आज मध्याह्न भोजन योजना (पीएम पोषण) के लिए केंद्रीकृत रसोई का उद्घाटन करने का अवसर मिला। समारोह के दौरान, मुझे अपने शहर वाराणसी के एक सरकारी स्कूल के कुछ 10 और 12 साल के बच्चों के साथ बातचीत करने का सौभाग्य मिला। अगली बार जब मैं वाराणसी आऊंगा, तो इन छात्रों के शिक्षकों से मिलना चाहूंगा। मैं उनके साथ केवल 15 मिनट के लिए था, लेकिन इन बच्चों में जिस तरह की प्रतिभा और आत्मविश्वास दिखा, उन्होंने जिस तरह के कौशल का प्रदर्शन किया और सोचने की बात यह है कि वो सरकारी स्कूल में पढ़ते हैं और साधारण परिवारों से आते हैं, इससे मैं बेहद प्रभावित हुआ।
अक्षय पात्र फाउंडेशन के अध्यक्ष मधु पंडित दास ने अपना आभार व्यक्त करते हुए कहा कि मैं माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के प्रति अपना हार्दिक आभार प्रकट करता हूँ कि वो अपने व्यस्त कार्यक्रम में से समय निकालकर वाराणसी में हमारी नई रसोई का उद्घाटन करने के लिए आए। सभी हितधारकों के इस तरह के सहयोगात्मक प्रयास निश्चित रूप से हमें एक ऐसी दुनिया सुनिश्चित करने के हमारे मिशन के करीब ले जाएंगे जहां बच्चों को शिक्षा और भोजन में से किसी एक को चुनने की बाध्यता नहीं होगी। अंत में, मैं पिछले 21 वर्षों से बच्चों और समुदायों की सेवा करने के हमारे प्रयासों में भारत सरकार के शिक्षा मंत्रालय (एमओई) द्वारा निरंतर समर्थन किए जाने के लिए उनको धन्यवाद देना चाहता हूं।