जबलपुर/ ब्यूरो
रानी अवन्ती बाई लोधी सागर परियोजना बरगी बांध के जलस्तर को नियंत्रित करने शुक्रवार 17 सितंबर की शाम सात बजे बांध के इक्कीस में से सात स्पिल-वे गेट आधा-आधा मीटर की ऊंचाई तक खोले गए । लगातर कैचमेंट एरिये में हो रही बारिश के चलते बरगी बांध अपनी अधिकतम सीमा पर पहुँच गया है,पिछले कई दिनों से जबलपुर समेत मंडला आदि जिलों में लगातार बारिश हो रही है जिसके चलते बरगी बाँध का जल स्तर बढ़ता चला रहा है और बाँध का जल-स्तर अपने अंतिम पड़ाव पर पहुँच गया है जो खतरे के निशान के वेहद करीब पहुँच गया है जिसके चलते बरगी बाँध के सात गेट खोल आधा मीटर खोल दिये गए हैं जिससे 25 हजार 286 क्यूसेक पानी की निकासी की जा रही है ताकि बाँध का जल-स्तर नियंत्रित बना रहे।
कार्यपालन यंत्री बरगी बांध अजय सूरे के अनुसार इन जलद्वारों से 19 हजार 282 क्यूसेक पानी की निकासी की जायेगी । उन्होंने बताया कि आज शुक्रवार की शाम 5 बजे की स्थिति में बरगी बांध का जल स्तर 422.55 मीटर रिकार्ड किया गया था । जो इसके पूर्ण जलभराव स्तर 422.76 मीटर से 0.21 मीटर कम है । श्री सूरे के मुताबिक शाम 5 बजे की स्थिति में बांध में 39 हजार 553 क्यूसेक पानी प्रवेश कर रहा था । उन्होंने बताया कि स्पिल-वे गेट के अलावा यहाँ स्थित जल विद्युत उत्पादन ईकाई से भी 6 हजार 004 क्यूसेक पानी छोड़ा जा रहा है । इस तरह कुल मिलाकर बांध से 25 हजार 286 क्यूसेक पानी की निकासी की जायेगी ।
प्रशासन द्वारा तटवर्ती रहने वाले लोगों को पानी से दूर रहने की अपील की गई है एवं नर्मदा किनारे बसने वाले लोगों को सुरक्षा के तहत सावधानी बरतने की भी अपील की गई है ताकि किसी भी प्रकार की जन-धन हानि न हो सके। कार्यपालन यंत्री ने बताया कि बांध से पानी छोड़ने के कारण इसके निचले क्षेत्र स्थित नर्मदा नदी के तट एवं घाटों में जल स्तर तेजी से बढ़ सकता है । उन्होंने तटवर्ती क्षेत्र के निवासियों से सतर्क रहने तथा घाटों एवं डूब क्षेत्र से दूर रहने की अपील की है । सूरे ने बताया कि पानी की आवक को देखते हुए बांध से पानी की निकासी की मात्रा कभी भी घटाई या बढाई जा सकती है ।