मैदानी अमला मुख्यालय पर रहे /बाढ़ आने वाले स्थलों को चिन्हित करें /बचाव प्रबंधन कार्य की तैयारी प्राथमिकता से हो / पुनः कब्जा करने वाले को सिविल जेल भेजने की कार्यवाही कराएं
छतरपुर / ब्यूरो
कलेक्टर शीलेन्द्र सिंह ने कहा कि मानसून सत्र में बाढ़ की आशंका के चलते बाढ़ में आने वाले स्थलों का चयन और बचाव प्रबंधन कार्य की तैयारी प्राथमिकता से करें। कलेक्टर श्री सिंह ने टीएल की समीक्षा बैठक में निर्देश दिए कि जिले में जहाँ-जहाँ बाढ़ आने की आशंका है उन स्थानों को चिन्हित करते हुए बचाव एवं प्रबंधन कार्य की सभी तैयारी पूरी करें। बाढ़ की जद में आने-वाले लोगों को ठहराने वाले स्थल का चयन कर सुरक्षा एवं राहत कार्य करने वाले दलों के गठन की कार्यवाही पूरी करें।
मैदानी अमला मुख्यालय पर रहे यह सुनिश्चित हो।
कलेक्टर श्री सिंह ने कहा कि कब्जा हटाने के बाद अतिक्रमणकर्ता द्वारा पुनः कब्जा किया जाता है तो सिविल जेल भेजने की कार्यवाही कराएं।
उन्होंने कहा की क्षेत्रीय एसडीएम भू-अर्जन की जानकारी ऑनलाइन दर्ज करें तथा सहकारी समितियों में पर्याप्त खाद रहे इसके लिए मांग का प्रस्ताव भेजे और समितियों पर पर्याप्त मात्रा में खाद रहे यह सुनिश्चित करें और तय मूल्य से अधिक कीमत पर खाद की बिक्री ना हो ऐसे प्रबंध करें।
ग्राम पंचायतों में एक-एक दुग्ध उत्पादन समिति गठित कराएं तथा प्रधानमंत्री आवास की समीक्षा करते हुए प्रति सप्ताह पूर्ण होने वाले ग्रामीण की जानकारी से अवगत कराएं। उन्होंने कहा कि कार्यालय प्रमुख न्यायालय में लगने वाले जवाबदावे समय पर प्रस्तुत करें।
टीएल बैठक में विभागवार मुख्यमंत्री हेल्पलाइन में दर्ज शिकायतों की समीक्षा करते हुए संतुष्टीपूर्वक समाधान करने तथा कार्यालय के सभी अधिकारियों कर्मचारी एवं उनके परिवार के सदस्यों द्वारा कोविड टीकाकरण करा लिया गया है से संबंधित प्रमाण-पत्र कलेक्ट्रेट में भेजनेे के निर्देश दिए। कलेक्टर ने खजुराहो, बक्स्वाहा और बड़ामलहरा में स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारियों के लिए बनने वाले आवासीय भवनों के लिए शासकीय जमीन उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। उन्होेंने कहा कि निर्माणाधीन प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास को पूर्ण कराने के लिए लगने वाली रेत का शासकीय दर पर प्रबंधन करने और ट्रेक्टर द्वारा रेत परिवहन किए जाने की अनुमति संबंधित एसडीएम दें। उन्होंने कहा कि मलेरिया एवं डेंगू रोग के नियत्रंण के लिए एसडीएम नियमित समीक्षा करें और जिले में संचालित राजस्व अभियान के लक्ष्य को हासिल करने के लिए प्रचार-प्रसार भी कराएं।